आप के पार्षद कर्मचारियों को सेलरी दिलाने के स्लोगन लिखी हुई टीशर्ट पहनकर आए थे। लेकिन जैसे ही सेलरी के प्रस्ताव पर चर्चा शुरू हुई, वैसे ही आप पार्षदों ने हंगामा शुरू कर दिया और दूसरे मुद्दों पर चर्चा की बात करने लगे।
यु.सि., नई दिल्ली। उत्तरी दिल्ली नगर निगम में आज सदन की बैठक हंगामों की भेंट चढ़ गई। निगम कर्मचारियों का वेतन पिछल कई महिनों से नही मिलने ने के कारण नार्थएमसीडी में मंगलवार को सदन की बैठक का आयोजन किया गया था, जो निगम पार्षदों द्वारा हंगामा करने के बाद सदन को स्थगित कर दिया गया।
भारतीय जनता पार्टी (BJP) और आम आदमी पार्टी (AAP) पर सदन नही चलने देने के आरोप लगाते हुए कांग्रेस दल के नेता मुकेश गोयल ने कहा, निगम की आर्थिक हालत खराब जिम्मेदार बीजेपी और आप पार्टी है। उन्होंने कहा कि सदन की बैठक आप व भाजपा के पार्षदों के हंगामे की भेंट चढ़ गई। दोनों पार्टियों के पार्षदों ने हंगामा करते हुए सेलरी के प्रस्ताव पर चर्चा नहीं करवाकर नगर निगम के कर्मचारियों के साथ धोखा किया है। दोनों पार्टियों के नेताओं अपनी-अपनी सरकार की पोल खुलने के डर से कर्मचारियों की सेलरी के प्रस्ताव पर चर्चा ही नहीं होने दी।
श्री गोयल ने कहा कि सदन की बैठक में आप पार्टी का दोहरा चरित्र सामने आया है। आप के पार्षद कर्मचारियों को सेलरी दिलाने के स्लोगन लिखी हुई टीशर्ट पहनकर आए थे। लेकिन जैसे ही सेलरी के प्रस्ताव पर चर्चा शुरू हुई, वैसे ही आप पार्षदों ने हंगामा शुरू कर दिया और दूसरे मुद्दों पर चर्चा की बात करने लगे। दूसरी ओर बीजेपी पार्षदों ने भी बैठक को चलाने या प्रस्ताव पर चर्चा करवाने में कोई रूचि नहीं दिखाई।
नेता दल ने आगे कहा कि लंबे समय से नगर निगम की सत्ता में काबिज बीजेपी निगम के स्रोतों से राजस्व अर्जित नहीं कर पा रही है। जिसकी वजह से नगर निगम लगातार पिछड़ता जा रहा है। दूसरी ओर दिल्ली की केजरीवाल सरकार नगर निगम का करोड़ों रूपये का बकाया देने को तैयार नहीं है। यदि मंगलवार की बैठक में सेलरी पर चर्चा होती तो बीजेपी और आप दोनों की सरकारों की पोल खुल जाती। उन्होंने कहा, दिल्ली सरकार को तुरंत नगर निगम को पैसा जारी करना चाहिए, ताकि कोरोना काल में लगातार काम करते आ रहे कर्मचारियों की सेलरी दी जा सके।